Tuesday, June 17, 2025
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परमाणु वार्ता पर ईरान के राष्ट्रपति पेजेशकियान का बड़ा बयान, "अमेरिका की धमकियों से नहीं डरेगा तेहरान"

राष्ट्रपति पेजेशकियान का यह बयान ऐसे समय में सामने आया है जब ईरान और अमेरिका के बीच फिर से तनाव और कूटनीतिक जटिलताएँ गहराने लगी हैं और पूरा विश्व इस बात पर नजर बनाए हुए है कि क्या दोनों पक्ष किसी नई परमाणु संधि की ओर बढ़ सकते हैं।

Edited By: Dharmendra Kumar Mishra @dharmendramedia
Published : May 17, 2025 16:55 IST, Updated : May 17, 2025 16:55 IST
डॉ. मसूद पेजेशकियान, ईरान के राष्ट्रपति।
Image Source : AP डॉ. मसूद पेजेशकियान, ईरान के राष्ट्रपति।

तेहरान: ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेजेशकियान ने शनिवार को स्पष्ट किया कि उनका देश परमाणु कार्यक्रम को लेकर अमेरिका के साथ वार्ता जारी रखेगा, लेकिन किसी भी प्रकार की धमकी या दबाव के आगे झुकेगा नहीं। उन्होंने यह टिप्पणी ईरानी नौसेना अधिकारियों को संबोधित करते हुए दी, जिसे राष्ट्रीय टेलीविजन पर प्रसारित किया गया। राष्ट्रपति पेजेशकियान ने अपने संबोधन में कहा, “हम बातचीत कर रहे हैं और आगे भी करते रहेंगे। हमारा मकसद युद्ध नहीं है, लेकिन हम किसी भी खतरे से डरते नहीं हैं। अगर हमें धमकाया गया, तो भी हम अपने वैध अधिकार नहीं छोड़ेंगे। हम अपने सम्मानजनक सैन्य, वैज्ञानिक और परमाणु क्षमताओं से पीछे नहीं हटेंगे।”

वार्ता “विशेषज्ञ स्तर” पर पहुंची

पेजेशकियान ने बताया कि अमेरिका और ईरान के बीच बातचीत अब "विशेषज्ञ स्तर" पर पहुंच चुकी है, जिसका अर्थ है कि दोनों पक्ष संभावित समझौते के तकनीकी और व्यावहारिक विवरण पर काम कर रहे हैं। हालांकि बातचीत का मुख्य विवादास्पद मुद्दा अब भी बना हुआ है — ईरान का यूरेनियम संवर्धन कार्यक्रम। ईरान का कहना है कि यह उसका वैध और संप्रभु अधिकार है कि वह परमाणु ऊर्जा के लिए यूरेनियम संवर्धन करे, जबकि अमेरिका चाहता है कि ईरान इस प्रक्रिया को सीमित करे या रोके, क्योंकि इससे परमाणु हथियार बनाए जाने की संभावना बनी रहती है।

ट्रंप की धमकी और ईरान की प्रतिक्रिया

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में बयान दिया कि अगर कोई समझौता नहीं होता है, तो अमेरिका ईरान के परमाणु ठिकानों पर सैन्य कार्रवाई कर सकता है। ट्रंप ने शुक्रवार को यह भी दावा किया कि ईरान को वार्ता के दौरान एक नया प्रस्ताव दिया गया है, हालांकि उन्होंने इसके विवरण नहीं बताए। ईरानी अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि अगर अमेरिका ने हमला किया, तो ईरान अपने यूरेनियम भंडार को और समृद्ध कर सकता है, जिससे परमाणु हथियार निर्माण की दिशा में कदम बढ़ सकता है।

ईरान ने परमाणु कार्यक्रम की "शांतिपूर्ण" प्रकृति दोहराई

इधर ईरान के परमाणु ऊर्जा संगठन के प्रमुख मोहम्मद इस्लाम ने दोहराया कि ईरान का परमाणु कार्यक्रम पूरी तरह से शांतिपूर्ण उद्देश्य के लिए है और यह संयुक्त राष्ट्र की परमाणु निगरानी एजेंसी (IAEA) की निरंतर निगरानी में है। उन्होंने कहा, “हमारा कार्यक्रम पूरी पारदर्शिता के साथ चलाया जा रहा है। शायद ही किसी अन्य देश के परमाणु प्रतिष्ठानों की निगरानी IAEA द्वारा इस स्तर पर की जाती हो। सिर्फ 2024 में ही एजेंसी ने 450 से अधिक निरीक्षण किए हैं।”

 

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