निजामुद्दीन मरकज के प्रमुख मौलाना मोहम्मद साद कांधलवी दक्षिण पूर्वी दिल्ली में अपने एक करीबी सहयोगी के निवास पर एकांतवास में हैं।
दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित तबलीगी जमात प्रमुख मौलाना मोहम्मद साद कांधलवी फरार है। मौलाना पर कोरोना वायरस पर प्रशासन के निर्देशों की अनदेखी करने का आरोप है।
मौलाना साद क्वारंटाइन की अवधि का इस्तेमाल जमातियों के बीच खुद के लिए समर्थन पाने के लिए कर रहा है, क्योंकि कई राज्यों की पुलिस ने उसके अनुयायियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है।
दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज में क्राइम ब्रांच की टीम ने तीन घंटे तक रविवार को जांच की। इस दौरान डीसीपी क्राइम ब्रांच जॉय टिर्की भी मरकज के अंदर मौजूद थे। डीसीपी जॉय टिर्की ने इंडिया टीवी से बातचीत में बताया कि वो यहां जांच कर रहे हैं।
कई दिन से कथित रूप से नदारद माने जा रहे निजामुद्दीन स्थित मरकज तबलीगी जमात प्रमुख मौलाना मोहम्मद साद कांधलवी ने शुक्रवार को माना कि उन्हें दिल्ली पुलिस क्राइम ब्रांच ने पूछताछ के लिए नोटिस भेजा है।
दिल्ली पुलिस अपराध शाखा ने दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में ताबड़तोड़ छापे मारे। कई संदिग्धों को पुलिस ने हिरासत में लेकर पूछताछ भी शुरू कर दी है।
यदि वर्तमान कानून नहीं बदला गया तो डॉक्टरों पर हमला करने वाले और जमात के मुखिया को अधिकतम 2 साल की सजा होगी। क्या यह पर्याप्त है?
मौलाना साद को अपने अनुयायियों से अपील करनी चाहिए कि वे अपने ठिकाने के बारे में अधिकारियों को सूचित करें, अपने स्वास्थ्य की जांच करवाएं और डॉक्टरों एवं नर्सों के साथ दुर्व्यवहार न करें।
संपादक की पसंद
लेटेस्ट न्यूज़