उत्तर प्रदेश के कानपुर जिले में जीवन बीमा को लेकर अलग लेवल का फ्रॉड किया गया है। जीवन बीमा के नाम पर लोगों की जिंदगी बचाने का दावा करने वाली कंपनी को ही ठगने वाला उसका अपना एजेंट आखिरकार कानून के शिकंजे में आ गया। कानपुर की कोतवाली पुलिस ने लंबे समय से फरार चल रहे एलआईसी एजेंट फैजान खान को गिरफ्तार कर लिया है।
लाखों रुपये का ठगा क्लेम
फैजान पर आरोप है कि उसने काल्पनिक लोगों के नाम पर दर्जनों बीमा पॉलिसियां कराईं, इसके बाद उन सभी बीमा पॉलिसी में खुद को ही नॉमिनी बना दिया और फिर फर्जी मृत्यु प्रमाण-पत्र लगाकर एलआईसी से लाखों रुपए का क्लेम ठग लिया। लेकिन इस शातिराना खेल का अंत भी पुलिस ने बेहद शातिराना तरीके से किया।
अपने साथियों के साथ मिलकर रची साजिश
जानकारी के अनुसार, यह सनसनीखेज मामला साल 2020 का है। तब भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) की कानपुर नगर शाखा-2 के तत्कालीन मुख्य प्रबंधक कैलाश नाथ ने कोतवाली थाने में मुकदमा दर्ज कराया था। शिकायत में उनके द्वारा बताया गया था कि कल्याणपुर निवासी एलआईसी एजेंट फैजान खान ने अपने साथियों के साथ मिलकर एक सुनियोजित साजिश रची। पहले तो उसने ऐसे लोगों के नाम पर पॉलिसी बनवाई जो असल में कभी अस्तित्व में ही नहीं थे। फिर फर्जी आधार कार्ड, पैन कार्ड और अन्य दस्तावेजों के जरिए उनके नाम से बैंक खाते खुलवाए।
पॉलिसी में अपने साथियों का नाम डलवाया
पॉलिसी में नॉमिनी के तौर पर अपना या अपने साथियों का नाम डलवाया। कुछ महीनों बाद फर्जी मृत्यु प्रमाण-पत्र तैयार करवाकर ये दावा किया गया कि पॉलिसी धारक की मौत हो गई। इस धोखे से एलआईसी से अब तक करीब 25 लाख रुपए का क्लेम हड़प लिया गया। कई और क्लेम भी तैयार थे, लेकिन जांच शुरू होते ही मामला खुल गया और एलआईसी ने तुरंत पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी।
5 साल तक दिया पुलिस को चकमा
मुकदमा दर्ज होने के बाद फैजान खान फरार हो गया था। 5 साल तक पुलिस को चकमा देता रहा। इस दौरान उसने बीमा का काम पूरी तरह छोड़ दिया और शहर के एक बड़े मॉल में नौकरी करने लगा। आम कर्मचारी की जिंदगी जीते हुए वह यह समझ रहा था कि उसका काला कारनामा दब चुका है। लेकिन पुलिस की टीम लगातार उसकी तलाश में जुटी रही और आखिरकार उसे दबोच लिया।
गिरफ्तार कर भेजा गया जेल
मामले को लेकर कोतवाली थाना प्रभारी जगदीश प्रसाद पांडेय ने बताया आरोपी फैजान खान को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। इस गिरोह के अन्य सदस्य फर्जी मृत्यु प्रमाण-पत्र बनाने वाला एमए सिद्दीकी और मोहम्मद इश्तियाक पहले ही सलाखों के पीछे हैं। अब मुख्य आरोपी के पकड़े जाने से पूरी साजिश का पर्दाफाश हो गया है।
धोखाधड़ी करने वाले एजेंटों की हो रही जांच
पुलिस का कहना है कि अभी जांच जारी है। संभव है कि फैजान ने सिर्फ कानपुर ही नहीं, आसपास के जिलों में भी इसी तरह की धोखाधड़ी की हो। एलआईसी अधिकारियों ने भी राहत की सांस ली है और कहा है कि ऐसे धोखेबाज एजेंटों पर सख्त कार्रवाई जारी रहेगी ताकि आम लोगों का भरोसा कायम रहे।
अनुराग श्रीवास्तव की रिपोर्ट