भारत ने शुक्रवार को विभिन्न देशों से कहा कि वह कोरोना वायरस संकट से लड़ने में मानवता की मदद के लिए टीका उत्पादन और आपूर्ति में अपनी क्षमता का इस्तेमाल करेगा।
राय ने कहा, ‘‘हम दो चरणों का परीक्षण कर चुके हैं। पहले चरण का परीक्षण कारगर रहा है। दूसरे चरण के परीक्षण का अभी विश्लेषण चल रहा है। लेकिन नियामक प्राधिकरण तीसरे चरण में जाने की अनुमति दे रहा है तो इसका मतलब है कि वे सारी रिपोर्ट से संतुष्ट हैं।
भारत सरकार ने नेशनल वैक्सीन डिस्ट्रीब्यूशन प्लान तैयार किया है और देशवासियों को कोरोना वायरस की वैक्सीन देने के लिए 50,000 करोड़ रुपए का एक अलग फंड बनाया है।
सिप्ला के वितरण नेटवर्क के जरिये इस किट की देशभर में आपूर्ति सुनियोजित तरीके से होगी।Cipla launches antibody detection kit for COVID-19 in India यह आपूर्ति आसीएमआर द्वारा मंजूरी प्राप्त चैनलों के जरिये की जाएगी ताकि इसका समान तरीके से वितरण हो सके।
रूस में बनी कोरोना वायरस की वैक्सीन Sputnik V का कोई खास साइड इफेक्ट देखने को नहीं मिला है। इस वैक्सीन को बनाने वाली गमलेया रिसर्च सेंटर के हेड अलेग्जेंडर गिंट्सबर्ग ने सोमवार को इस बारे में जानकारी दी थी।
कोरोना वायरस टीके बनाने की रेस में एस्ट्राजेनेका कंपनी का टीका बुजुर्गों में इस वायरस के खिलाफ जरुरी इम्युन रिस्पांस को बनाने में सफल हो गया है। फायनेंशियल टाइम्स में छपी रिपोर्ट के अनुसार, दवां से बुजुर्गों के शरीर में प्रोटेक्टिव ऐंटीबॉडीज और T स
ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय का कहना है कि परीक्षण में शामिल एक व्यक्ति की मौत की खबरों के बावजूद ब्राजील में उसके कोविड-19 टीके का बाद में चलाये जाने वाले चरण का परीक्षण जारी रहेगा।
भूषण ने कहा कि यह लगभग चुनावी परिदृश्य जैसा होगा जहां कई परिचय पत्र का इस्तेमाल किया जाता है और किसी को वोट डालने से नहीं रोका जाता।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज देश को संबोधित करते हुए लोगों से कोरोना वायरस लेकर त्योहार के दौरान सावधान रहने को कहा। प्रधानमंत्री ने इसके साथ ही कहा, ''हमारे देश के वैज्ञानिक भी वैक्सीन के लिए जी-जान से जुटे हैं।
दुनिया भर में कोविड-19 के टीके के समान रूप से वितरण के लिये विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के ‘कोवैक्स’ गठजोड़ में शामिल होने के कुछ दिनों बाद चीन ने अपने कोरोना वायरस के टीके का आपात इस्तेमाल तीन और शहरों में करने की मंजूरी दे दी है।
अपोलो हॉस्पिटल्स के मुताबिल वो अपनी वैक्सीन कोल्ड चेन को मजबूत कर रहा है। वहीं अपोलो की सभी सुविधाओं को इसके लिए तैयार किया जा रहा है। ग्रुप ने 10,000 पेशेवरों को इसके लिए प्रशिक्षित किया है। इन्हें समूह की फार्मेसी, क्लिनिक ओर अस्पतालों में तैनात किया जाएगा।
अमेरिका में कोविड-19 संक्रमण को काबू करने के प्रयासों का नेतृत्व कर रहे अमेरिकी प्रशासन के एक अधिकारी ने कहा है कि देश में जनवरी 2021 की शुरुआत में कोरोना वायरस का टीका उपलब्ध हो सकता है
आयुष मंत्रालय ने कोरोना मरीजों के उपचार के लिए इस्तेमाल होने वाली 7 आयुर्वेदिक दवाओं की लिस्ट जारी की है। मंत्रालय ने यह लिस्ट ऐसे में समय में जारी की है जब भारत कोरोना वायरस से बहुत ज्यादा प्रभावित हो रहा है।
कोरोना वायरस वैश्विक महामारी का टीका विकसित करने के लिए काम कर रहे विशेषज्ञों का कहना है कि कोविड-19 के लिए प्रभावी टीका आम लोगों को 2021 में पतझड़ के मौसम से पहले उपलब्ध होने की संभावना नहीं है।
उन्होंने कहा, "हम शुरू से ही विज्ञान द्वारा गाइड किए जाते रहे हैं और कोविड-19 वैक्सीन टास्क फोर्स और इम्युनिटी टास्क फोर्स सबसे कारगर वैक्सीन विकल्पों और रणनीतियों की पहचान करने में हमारी मदद करने के लिए महत्वपूर्ण काम कर रहे हैं।"
इलेक्ट्रॉनिक वैक्सीन इंटेलिजेन्स नेटवर्क वास्तव में इंटरनेट आधारित एक डिजिटल प्रणाली है, जो नियमित टीकाकरण, दवा के भंडार, भंडारण तापमान आदि को लेकर निगरानी करेगी।
चीन की कंपनी कैनसिनो बायोलॉजिक्स द्वारा डिवेलप की जा रही कोरोना वायरस की वैक्सीन के तीसरे चरण का ट्रायल पाकिस्तान में शुरू हो चुका है।
आत्मनिर्भर भारत योजना देश को भावी महामारियों के लिए तैयार करने हेतु जन स्वास्थ्य और अन्य स्वास्थ्य संबंधी सुधारों में निवेश बढ़ाने संबंधी सरकार की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है।
अमेरिकी नागरिकों तक कोरोना वैक्सीन पहुंचाने का कार्यक्रम मैराथन होगा। शुरू में टीकों की सीमित आपूर्ति उपलब्ध करवाई जाएगी।
वैक्सीन के लिए रूस के RDIF ने डॉ रेड्डीज लैब के साथ समझौता किया है जिसके तहत RDIF 10 करोड़ वैक्सीन की डोज़ की सप्लाई करेगी। RDIF इसके साथ 4 अन्य भारतीय कंपनियों के साथ बात कर रही है जो भारत में इन वैक्सीन का उत्पादन करेंगी।
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