वीरेंद्र सहवाग ने अपने सलामी जोड़ीदार रहे सचिन तेंदुलकर की नकल करने का प्रयास करते थे जिन्हें उन्होंने पहली बार 1992 विश्व कप में बल्लेबाजी करते टीवी पर देखा था।
भारतीय पूर्व सलामी बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग का कहना है लोग भले ही डी विलियर्स का असली नाम भूल जाए, लेकिन जो उन्हें मिस्टर 360 डिग्री का नाम मिला है वो कभी नहीं भूल पाएंगे।
आज पूरी दुनिया में मदर्स डे मनाया जा रहा है। इस खास दिन पर क्रिकेट जगत ने अपनी मां को याद किया जिसमें सचिन तेंदुलकर और वीरेंद्र सहवाग जैसे दिग्गज खिलाड़ी शामिल हैं।
सहवाग ने माना की दिल्ली की टीम में रबाडा और अश्विन जैसे नामी खिलाड़ी होने की वजह से किसी का ध्यान इस खिलाड़ी पर नहीं जाता।
सहवाग ने कहा कि मैंने भी ओपनिंग की है मैंने भी सोचा है कि 6 की 6 गेंदों पर घुमाऊंगा, लेकिन कभी 18 रन तो कभी 20 रन बना पाया। मैं कभी पहुंचा नहीं कि 6 चौके या फिर 6 छक्के मार सकूं। पृथ्वी शॉ ने लाजवाब बैटिंग की है।"
हर्षल इस सीजन में अच्छी गेंदबाजी कर रहे हैं और 6 मैच में 17 विकेट के साथ वह इस सीजन में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले खिलाड़ी भी हैं।
भारतीय पूर्व क्रिकेटर वीरेंद्र सहवाग भी हैरान रह गए। सहवाग ने मैच के बाद कहा कि हैदराबाद की अपनी हार की जिम्मेदार खुद है।
शमी और जसप्रीत बुमराह को भारत की तेज गेंदबाजी बैटरी के स्पीयरहेड के रूप में देखा जाता है। लेकिन शुक्रवार को वे इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में एक-दूसरे के आमने-सामने होंगे।
सैम कुर्रन ने अपने 4 ओवर के कोटे में जहां 14.50 की इकॉन्मी से 58 रन लुटाए थे, वहीं शार्दुल ठाकुर ने 3.1 ओवर में 15.20 की इकॉन्मी से 48 रन दिए थे।
मैक्सवेल को इस अंदाज में बल्लेबाजी करता देख भारतीय पूर्व क्रिकेटर और पंजाब किंग्स के कोचिंग स्टाफ का हिस्सा रह चुके वीरेंद्र सहवाग उनके फैन हो गए।
एक फैन ने पूछा आखिरी के छह ओवरों में महज एक छक्का लगाया और कोई बाउंड्री नहीं लगाई, यह नंबर तीन पर बल्लेबाजी करने वाले खिलाड़ी के लिए सेटल होने के बाद कितना खराब प्रदर्शन है?
व्यापक रूप से शांत और मिलनसार व्यक्ति के रूप में जाने जाने वाले द्रविड़ विज्ञापन में बेंगलुरु में ट्रैफिक जाम में साथी यात्रियों पर चिल्लाते और हंसते हुए देखा जा सकता है।
सौरभ गांगुली ने अपनी कप्तानी के दिनों को याद करते हुए बताया कि 2003 में नेटवेस्ट ट्रॉफी फाइनल के दौरान उन्हें पूर्व ओपनर बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग से कप्तानी करने की सीख मिली थी।
भारतीय क्रिकेट टीम को भले ही 2011 का वर्ल्ड कप जीते हुए 10 साल का समय बीत गया हो लेकिन हर साल जब भी 2 अप्रैल की तारीख आती है तो फैंस के दिलों में इस शानदार जीत की यादें फिर से ताजा हो जाती है।
पिछले कुछ सालों से यो-यो टेस्ट भारतीय क्रिकेट टीम में चुने जाने का बड़ा पैमाना बना हुआ है। यही वजह है कि यो-यो टेस्ट के चलते कई बड़े खिलाडी टीम में जगह बनाने में नाकाम रहे हैं
तारीख 29 मार्च 2004 और जगह थी पाकिस्तान का मुल्तान शहर लेकिन इतिहास रच रहे थे भारत के विस्फोटक बल्लेबाज वीरेंदर सहवाग।
वीरेंद्र सहवाग भी टीम मैनेजमेंट के इस फैसले से नाराज नजर आए। रोहित के टीम में ना होने पर सहवाग ने कहा कि मैदान पर दर्शक रोहित जैसे खिलाड़ियों को देखने आते हैं।
टीम संतुलन को देखते हुए इंडिया लेजेंडस कागजों पर काफी मजबूत दिखाई दे रही है। कप्तान तेंदुलकर और वीरेंद्र सहवाग की सलामी जोड़ी नई गेंद के साथ गेंदबाजों के खिलाफ खूब रन बना रहे हैं।
सलामी बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने अपने सोशल मीडिया से एक विडियो शेयर किया है। इस विडियो में क्रिकेट के भगवान सचिन तेंदुलकर हाथों में सुई लगाए नजर आ रहे हैं।
भारतीय क्रिकेट टीम के विकेटकीपर ऋषभ पंत ने पिछले कुछ महीनों में क्रिकेट जगत के दिग्गजों से काफी तारीफ बटोरी है।
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